कुलभूषण जाधव की सजा के मामले में अंतरराष्ट्रीय अदालत में सुनवाई आज से

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पुलवामा में सीआरपीएफ जवानों पर जैश-ए-मोहम्मद के हमले के चार दिन बाद भारत और पाकिस्तान कुलभूषण जाधव के मामले में आमने-सामने होंगे। पूर्व भारतीय नेवी अफसर जाधव को सुनाई मौत की सजा को लेकर इंटरनेशनल कोर्ट ऑफ जस्टिस (आईसीजे) सोमवार से सुनवाई करेगा। यह सुनवाई चार दिन चलेगी।

सोमवार को भारतीय वकील हरीश साल्वे और मंगलवार को पाकिस्तानी वकील खावर कुरैशी दलीलें पेश करेंगे। इसके बाद भारत 20 फरवरी को इस पर जवाब देगा, जबकि इस्लामाबाद 21 फरवरी को अपनी आखिरी दलीलें पेश करेगा। इस साल इस मामले में फैसला आने की उम्मीद है।

 

पाकिस्तान ने लगाया जासूसी का आरोप

पाक सैनिकों ने कुलभूषण जाधव को मार्च 2016 में बलूचिस्तान प्रांत से पकड़ा था। उन पर अफगानिस्तान में जासूसी के आरोप लगाए गए और मिलिट्री कोर्ट ने 10 अप्रैल 2017 को उन्हें सजा-ए-मौत सुनाई थी। इस पर रोक लगवाने के लिए भारत ने आईसीजे का दरवाजा खटखटाया था। इसके बाद कोर्ट ने 2017 में जाधव को सजा पर रोक लगाई थी। हालांकि, पाकिस्तान ने कहा है कि वह कुलभूषण की सजा को नहीं बदलेगा।

 

कुलभूषण की सजा रद्द करने की मांग
भारत पहले कह चुका है कि कुलभूषण जाधव जासूस नहीं हैं। बल्कि पाक सैनिकों ने उन्हें अफगानिस्तान बॉर्डर से किडनैप किया था। भारत ने कोर्ट से अपील की है कि पाकिस्तान को जाधव की सजा रद्द करने का आदेश दिया जाए। भारत का आरोप है कि पाकिस्तान ने विएना संधि का उल्लंघन कर कुलभूषण को काउंसलर एक्सेस मुहैया नहीं कराई और मानवाधिकारों का भी उल्लंघन किया।

 

जाधव की फैमिली को भी प्रताड़ित किया था
कुलभूषण का परिवार उनसे मिलने 2017 में पाकिस्तान गया था। तब उनके परिवार को प्रताड़ित किया गया था। मुलाकात के दौरान जाधव और परिवार सीसीटीवी की निगरानी में था और उनके बीच एक कांच की दीवार थी।