लॉकडाउन के एलान के बाद NPR की कवायद और जनगणना अनिश्चितकाल के लिए स्थगित

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लॉकडाउन की घोषणा के बाद नेशनल पॉपुलेशन रजिस्टर (एनपीआर) की कवायद और जनगणना का पहला चरण अनिश्चिकाल के लिए स्थगित कर दिया गया है. अधिकारियों ने इस बात की जानकारी दी. बता दें कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कोरोना वायरस के मद्देनजर आज रात 12 बजे से पूरे देश में 21 दिनों के लिए संपूर्ण लॉकडाउन लगाने का एलान किया.

 

इस एलान के बाद एनपीआर की कवायद और जनगणना के पहले चरण को लेकर ये फैसला लिया गया. ये दोनों एक्सरसाइज 1 अप्रैल 2020 से शुरू होने वाले थे. लेकिन अब इसे अनिश्चितकाल के लिए स्थगित कर दिया गया है.

 

 

Press Trust of India

@PTI_News

NPR exercise, 1st phase of census deferred indefinitely after PM’s announcement of 21-day lockdown: officials

800 लोग इस बारे में बात कर रहे हैं

 

एनपीआर क्या है?

 

नेशनल पॉपुलेशन रजिस्टर का उद्देश्य देश में रहने वाले प्रत्येक शख्स की पहचान का डेटाबेस तैयार करना है. साल 2010 में पहली बार एनपीआर बनाने की शुरुआत हुई थी. एनपीआर में मांग जाने वाले दस्तावेजों को लेकर बीते दिनों में देशभर में खूब  चर्चा हुई. हालांकि, गृहमंत्री अमित शाह ये साफ कर चुके है कि एनपीआर में कोई दस्तावेज नहीं मांगे जाएंगे. संसद में वे इस बात को कह चुके हैं कि जिन लोगों के पास जो जानकारी नहीं है उसे देने की जरूरत नहीं है.

 

14 अप्रैल को खत्म होगा लॉकडाउन

 

आज रात 12 बजे से शुरू हो रहा लॉकडाउन 14 अप्रैल को खत्म होगा. पीएम मोदी ने देश के लोगों से अपील की कि इन 21 दिनों के दौरान वे अपने घर में ही रहें. किसी भी हालत में बाहर न निकलें. उन्होंने कहा कि दुनिया के दूसरे देशों के अनुभव से ये पता चला है कि अगर इस वायरस को रोकना है तो सोशल डिस्टेंस का पालन करना होगा.

 

लॉकडाउन में खुली रहेंगी जरूरी सामान की दुकानें

 

इस बीच गृह मंत्रालय ने साफ किया कि 21 दिनों के लॉकडाउन के दौरान किराने की दुकान, फल, सब्जी, दूध, दवा और जरूरी सामान की दुकानें खुली रहेंगी. एटीएम सेवाएं भी चालू रहेंगी. दुकानों पर पैनिक कर समान खरीदने की ज़रूरत नहीं है.