नई दिल्ली, 11 मार्च । दुनियाभर में खाद्यान्नों की जोदार मांग और आपूर्ति के बीच भारत का गेहूं निर्यात पिछले साल के मुकाबले इस चार गुना बढ़ने का अनुमान जताया जा रहा है। अमेरिकी एजेंसी यूएसडीए के ताजा अनुमान के अनुसार, भारत 2020-21 में 20 लाख टन गेहूं का निर्यात कर सकता है, जबकि पिछले साल 2019-20 में गेहूं का निर्यात 5.1 लाख टन हुआ था।
अमेरिकी कृषि विभाग (यूएसडीए) के मार्च के अनुमान के अनुसार, भारत में गेहूं पिछले साल का बकाया स्टॉक 247 लाख टन था और उत्पादन 1,078.6 लाख टन, आयात 30,000 टन, घरेलू खपत 1,030.9 लाख टन और निर्यात 20 लाख टन होने के बाद अंतिम स्टॉक 275 टन रह सकता है।
यूएसडी पिछले महीने फरवरी में जारी अनुमान के अनुसार, भारत में गेहूं पिछले साल का बकाया स्टॉक 247 लाख टन था और उत्पादन 1,075.9 लाख टन, आयात 30,000 टन, घरेलू खपत 1,030.2 लाख टन और निर्यात 18 लाख टन होने के बाद अंतिम स्टॉक 275 टन रहने का आकलन किया गया था।
अमेरिकी एजेंसी ने हालिया रिपोर्ट में भारत से गेहूं निर्यात में दो लाख टन की बढ़ोतरी की है।
यूएसडी ने गेहूं की वैश्विक आपूर्ति, खपत और निर्यात में बढ़ोतरी की है। वैश्विक आपूर्ति 350 लाख टन बढ़ाकर 107.71 करोड़ टन कर दिया, जिसमें रिकॉर्ड वैश्विक उत्पादन 77.68 करोड़ टन शामिल है। गेहूं की वैश्विक खपत 2020-21 में 66 लाख टन की बढ़ोतरी के साथ 77.59 करोड़ टन रहने का अनुमान है। खासतौर से चीन की मांग ज्यादा होने के कारण वैश्विक खपत में इजाफा किया गया है।
भारत सरकार द्वारा जारी दूसरे अग्रिम उत्पादन अनुमान के अनुसार, देश में फसल वर्ष 2020-21 में गेहूं का उत्पादन 10.92 करोड़ टन रहने का अनुमान है जोकि एक नया रिकॉर्ड होगा।
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