गठबंधन की रणनीति बीजेपी ने ही सिखाया है- अखिलेश यादव

,

   

समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष व पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने इस बात से इन्कार करते हैं कि पीएम मोदी के डर से सपा-बसपा का गठबंधन हो रहा है। वह कहते हैं कि हमने भाजपा से सीखा है कि दलों से गठबंधन करके कैसे अंकगणित ठीक किया जाता है।

सपा-बसपा कॉडर में कड़वाहट को नकारते हुए उन्होंने कहा कि जनता तैयार थी, तभी तो गठबंधन हो रहा है। गोरखपुर, फूलपुर व कैराना का उदाहरण दिया कि वहां के लोग भाजपा को हराना चाहते थे।

कन्नौज के फकीरे पुरवा गांव में ई-चौपाल के बाद बातचीत में अखिलेश यादव ने गठबंधन पर नपे-तुले जवाब दिए लेकिन अन्य मुद्दों पर खुलकर बोले। उन्होंने कहा, भाजपा ने सिखाया कि दलों को मिलाइये, लोगों को जोड़िये और जीत हासिल कीजिए।

गोरखपुर उपचुनाव में हमने निषाद पार्टी के अध्यक्ष के बेटे को चुनाव लड़ाकर मुख्यमंत्री के क्षेत्र में सीट जीती। कैराना में हमारा प्रत्याशी था और राष्ट्रीय लोकदल का सिंबल था। चौधरी अजित सिंह व जयंत चौधरी ने मेहनत की और रालोद-सपा गठबंधन ने सीट जीत ली।

सपा-बसपा के कॉडर में तालमेल की कमी पर उन्होंने कार्यकर्ता और जनता तैयार थी, तभी तो गोरखपुर, फूलपुर व कैराना में भाजपा हारी। गठबंधन मोदी विरोध में नहीं हो रहा है, मुलायम सिंह यादव पहले कांशीराम-मायावती के साथ गठबंधन कर चुके हैं।

उन्हीं के काम को हम आगे बढ़ा रहे हैं। हमारी विचारधारा में फर्क नहीं है। उन्होंने भाजपा पर निशाना साधा कि कश्मीर में उन्होंने स्वार्थ के लिए विपरीत ध्रुव वाली पार्टी (पीडीपी) से गठबंधन किया और फिर सत्ता के लिए ही खत्म कर दिया।