केंद्रीय गृह मंत्रालय ने अपने ताजा आदेश के तहत लॉकडाउन का उल्लंघन करने वालों को तत्काल 14 दिनों के लिए क्वारनटीन पर भेजने की राज्यों से सिफारिश की है। केंद्र ने राज्य सरकारों और केंद्र शासित प्रदेशों से तमाम जिलों की सीमाएं सील करने का आदेश दिया है। ताकी प्रवासी मजदूरों की आवाजाही को रोका जा सके। मुख्य सचिवों और पुलिस महानिदेशकों के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के दौरान कैबिनेट सचिव राजीव गौबा और केंद्रीय गृह सचिव अजय भल्ला ने उनसे सुनिश्चित करने को कहा कि शहरों में या राजमार्गों पर आवाजाही को रोकते हुए लॉकडाउन सख्ती से लागू किया जाय।
केंद्रीय गृह मंत्रालय ने जानकारी दी कि जो मजदूर अपने घरों के लिए निकल चुके हैं। उन्हें 14 दिनों के लिए क्वारंटीन किया जायेगा। केंद्र सरकार के नए आदेश के मुताबिक जो मजदूर किराये के मकान में रह रहे हैं उनसे उनके मकान मालिक एक महीने का किराया नहीं लेगे। इसकी ताकीद करने की जिम्मेदारी डीएम और एसपी की होगी।
इस बीच स्वास्थ्य मंत्रालय की तरफ से कहा गया कि वो विभिन्न राज्यों के संपर्क में है। साथ ही मंत्रालय ने लोगों से केयर फंड में दान देने की अपील की है। स्वास्थ्य मंत्रालय के मुताबिक कोरोना वायरस से लड़ने के लिए 10 स्पेशल टीमें बनाई गई हैं। साथ ही कोरोना से लड़ने के लिए विदेशों से उपकरण के लिए ऑर्डर दे दिये गए हैं।
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने कोरोना मरीजों के लिए अलग से अस्पताल के इंतजाम का निर्देश दिया है। स्वास्थ्य मंत्रालय की तरफ से आधिकारिक जानकारी के मुताबिक केंद्र सरकार चौबीसों घंटे इस महामारी पर नजर रखे हुए है।
दिल्ली में आईएसबीटी पर लोगों का हुजूम देखा गया। क्या संभव है कि दिल्ली से पलायन कर रहे हजारों की तादाद में मजदूरों को क्वारंटीन किया जा सके? ये जरूर है कि इनके गांव पहुंचने पर इनके लिए गांव के बाहर ही स्कूलों में इंतजाम किया जा रहा है। लेकिन रास्ते में इनमें कोई भी बीमार व्यक्ति सैंकड़ों को संक्रमण फैला सकता है।
विभिन्न शहरों में प्रशासन सख्त
लखनऊ का हाल बताएं तो यहां पुलिस कमिश्नर सुजीत पाण्डेय लोगों को समझाने खुद सड़क पर उतरे। लखनऊ में सात लोगों के खिलाफ अलग-अलग थानों में मुकदमे दर्ज किया गया साथ ही 808 वाहनों का चालान भी काटा गया। इसी तरह देहरादून पुलिस ने भी की और पांच लोगों को गिरफ्तार किया…इनपर मुकदमा दर्ज कर थाने में ही बैठाए रखा गया। महाराष्ट्र में लॉकडाउन को लेकर प्रशासन न सिर्फ सजग है बल्कि सख्त भी। तभी तो पुलिस ने पूरे महाराष्ट्र में आदेशों के उल्लंघन और इससे जुड़े अपराधों के लिए 6,142 मामले दर्ज किए हैं.ज्यादातर मामले भारतीय दंड संहिता की धारा 188 और 270 और आपदा प्रबंधन अधिनियम के तहत दर्ज किए जा रहे हैं. एक आधिकारिक विज्ञप्ति में कहा गया है कि सबसे अधिक मामले (1,008) अहमदनगर शहर में दर्ज किए गए हैं। लॉकडाउन के दौरान जरूरी मदद विभिन्न सरकारें मुहैया करा रही है। बावजूद इसके लोग घरों से निकलने से बाज नहीं आ रहे।