लॉकडाउन में फसे बेटे से मिलने के लिए माँ 1400 किमी तक चलाई स्कूटी

   

मां के प्रेम का कोई अंत नहीं होता। इंसान हो या जानवर यदि अपनी संतान संकट में रहती है तो मौत से भी नहीं डरती। इसी प्रकार एक साहस भरी मां की घटना तेलंगाना के कामारेड्डी जिले के बोधन इलाके में  प्रकाश में आई है।

लॉकडाउन के चलते एक महिला का बेटा दूसरे राज्य में फंस गया था। जैसे ही मां को इसकी खबर मिली तो उसके पैर के नीचे की जमीन खिसक गई है। उसके होश उड़ गये। महिला ने अधिकारियों की अनुमति लेकर अकेली स्कूटी पर निकल पड़ी। बेटे के पास पहुंची और बेटे को स्कूटी पर बिठाकर वापस लौट आई। इस दौरान महिला ने लगभग 1400 किलोमीटर का सफर किया।

मां रजिया बेगम के साथ बेटा मोहम्मद निजामुद्दीन

प्राप्त जानकारी के अनुसार, कामारेड्डी जिले के बोधन निवासी रजिया बेगम सरकारी स्कूल में टीचर है। उसे दो बेटे और एक बेटी हैं। 12 साल पहले उसके पति की मौत हो चुकी है। तब से रजिया बेगम ही बच्चों की देखभाल कर रही हैं।

इसी क्रम में रजिया बेगम का छोटा बेटा मोहम्मद निजामुद्दीन इंटर की पढ़ाई पूरी करके हैदराबाद स्थित नारायण मेडिकल एकाडेमी में कोचिंग ले रहा है। नेल्लोर निवासी और निजामुद्दीन का दोस्त बोधन में इंटर की पढ़ाई कर रहा है। उसके इंटर पूरक परीक्षा के लिए दोनों हैदराबाद से बोधन आ गये। इसी बीच उसके दोस्त बाप की तबीयत ठीक नहीं होने की खबर आई। दोनों मिलकर गत 12 मार्च को नेल्लोर के लिए रवाना हो गये। इसी बीच कोरोना वायरस के चलते सरकार ने लॉकडाउन घोषित कर दिया। इसके चलते रजिया बेगम का बेटा नेल्लोर में फंस गया।

बेटे के नेल्लोर फंसे जाने की खबर मिलते ही वह बेचैन हो उठी। उसने बोधन के एसीपी जयपाल रेड्डी को घटना के बारे में बताई। एसीपी ने उसे एक पत्र लिखकर दिया। बोधन से नेल्लोर 700 किलोमीटर हैं। रजिया सोमवार को सुबह उस पत्र लेकर नेल्लोर के लिए रवाना हुई। अगले दिन दोपहर को वहां पहुंची। गांव वालों ने उसे रुक जाने का आग्रह किया। मगर वह रुकी नहीं। उसी दिन शाम को बेट को स्कूटी पर बिठाकर वापस रवाना हुई। बुधवार दोपहर को वह बेटे को लेकर कामारेड्डी पहुंची।

इस दौरान रजिया बेगम ने मीडिया से कहा, “बेटे को देखने की ललक ने मुझे इतने दूर का सफर करने के लिए मजबूर किया है। केवल बेटे को सुरक्षित लेकर आना ही मेरा लक्ष्य था। जंगल के मार्ग पर जाने पर भी मुझे डर महसूस नहीं हुआ। पुलिस ने अनेक जगहों पर मुझे रोका। मगर बोधन के एसीपी का पत्र दिखाते ही आगे जाने की अनुमति दी है।” इस असवर पर रजिया बेगम ने दोनों राज्यों के पुलिस के प्रति आभार व्यक्त किया।