राम जन्मभूमि आंदोलन के शिल्पकार एवं भाजपा के वयोवृद्ध नेता लाल कृष्ण आडवाणी ने शनिवार को कहा कि वह पूरे दिल से अयोध्या मुद्दे पर उच्चतम न्यायालय के आए फैसले का स्वागत करते हैं। उन्होंने कहा कि उनके रुख की पुष्टि हुई है और वह खुद को धन्य मानते हैं।
“Moment of fulfilment for me, God gave me opportunity to contribute to mass movement, biggest since India’s Freedom Movement,” says Advani.#AyodhaVerdicthttps://t.co/wG4b1sSrZy
— The Hindu (@the_hindu) November 9, 2019
इंडिया टीवी न्यूज़ डॉट कॉम के अनुसार, आडवाणी ने कहा कि लंबे समय से अयोध्या में चल रहे मंदिर-मस्जिद विवाद का पटाक्षेप हो गया और समय आ गया है कि विवाद एवं कटुता को पीछे छोड़कर सांप्रदायिक एकता और सहमति को गले लगाया जाए।
Hindu leaders laud contributions of LK Advani, Ashok Singhal in Ram Janmabhoomi movement https://t.co/uIfNpjqLWI
— TOI India (@TOIIndiaNews) November 9, 2019
आडवाणी ने बयान जारी कर कहा, ‘‘ अयोध्या के मुद्दे पर उच्चतम न्यायालय के पांच न्यायाधीशों की संविधान पीठ की ओर से दिए गए ऐतिहासिक फैसले का खुले दिल से स्वागत करने के लिए मैं देशवासियों के साथ खड़ा हूं।’’
उन्होंने कहा, ‘‘ मैं अपने रुख पर कायम हूं और खुद को धन्य महसूस कर रहा हूं कि उच्चतम न्यायालय ने एकमत से अयोध्या में राम जन्मभूमि पर भव्य राम मंदिर बनाने का रास्ता साफ किया।’’
इस पल को मनोकामना पूर्ण होने वाला बताते हुए 92वर्षीय आडवाणी ने कहा कि यह क्षण मेरी कामना पूर्ण होने का है, ईश्वर ने मुझे विशाल आंदोलन में योगदान देने का अवसर दिया जो भारत के स्वतंत्रता आंदोलन के बाद सबसे बड़ा आंदोलन था।
आडवाणी ने कहा कि लंबे समय से अयोध्या में चल रहे मंदिर-मस्जिद विवाद का पटाक्षेप हो गया और समय आ गया है कि विवाद एवं कटुता को पीछे छोड़कर सांप्रदायिक एकता और सहमति को गले लगाया जाए।