VIDEO- अमेजन के जंगलों का हुआ और बुरा हाल, सोशल मीडिया पर चला #PrayForTheAmazon कैंपेन

,

   

अमेजन के जंगलों में लगी आग अब अंतराष्ट्रीय मुद्दा बन चुका है. ये आग इतनी गंभीर है कि इससे दुनियाभर का वातावरण दूषित हो सकता है. अमेजन के जंगलों  को ‘लंग्स ऑफ द प्लेनेट’ यानी कि ‘दुनियां का फेफड़ा’ कहते हैं और दुनिया भर की 20 फीसदी ऑक्सीजन अमेजन के जंगलों से मिलती है. ब्राजील में अमेजन के 60 प्रतिशत जंगल हैं. जंगलों में लगी आग अगर नहीं रोकी गई तो इससे दुनिया भर के लोग प्रभावित होंगे. इसका असर हमारे पर्यावरण पर पड़ रहा है. आगे चलकर पर्यावरण और जलवायु परिवर्तन होगा. दुनिया में ग्लोबल वॉर्मिंग से लड़ने में अमेजन का खास महत्व है. अमेजन जैसे समृद्ध जंगलों के विनाश से ग्लोबल वॉर्मिंग की रफ्तार निश्चित रूप से बढ़ेगी. अमेजन जैसा विशाल कार्बन सिंक नष्ट होगा, तो समुद्र का तापमान तेजी से बढ़ सकता है और चक्रवाती तूफानों का खतरा बढ़ेगा. अमेजन के जंगलों में लगी आग को गंभीरता से लेते हुए दुनिया भर के सड़कों पर उतर आए हैं. लोग आग को रोकने की मांग को लेकर प्रदर्शन कर रहे हैं और सोशल मीडिया पर कैंपेन #PrayForTheAmazon भी चला रहे हैं.

अमेजन के जंगलों में लगी आग ब्राजील समेत आसपास के अन्य देशों को प्रभावित कर रही हैं. इस आग को बुझाने के लिए जी-7 सम्मेलन में कुल 22 मिलियन डॉलर (157 करोड़ रुपए) की राशि देने पर सहमति बनी. ब्राजील (Brazil) ने पहले तो इस राशि को लेने से इनकार कर दिया था, लेकिन अब वह इस पर सहमत हो गया है. ब्राजील के राष्ट्रपति जेयर बोल्सनारो के प्रवक्ता ओटावियो रिगो बरोज ने कहा, ”ब्राजील सरकार राष्ट्रपति के जरिए संगठनों और देशों से आर्थिक मदद लेने को तैयार है अगर यह पैसा ब्राजील में प्रवेश करने पर ब्राजील के लोगों के नियंत्रण में होगा.” सीएनएन की रिपोर्ट के मुताबिक अमेजन के जंगलों में लगने वाली आग (Amazon Forest Fire) की घटनाओं में इस साल 85 फीसदी की बढ़ोतरी हुई है. ब्राजील के अंतरिक्ष अनुसंधान केंद्र के मुताबिक ब्राजील के जंगलों में इस साल अब तक 80,000 से अधिक आग की घटनाएं सामने आई हैं, जिनमें आधे से ज्यादा अमेजन के जंगलों से जुड़ी हुई हैं. आग इतनी खतरनाक है कि इससे पैदा हुआ धुआं अंतरिक्ष से भी देखा जा सकता है.

यूरोपीय अंतरिक्ष एजेंसी के अंतरिक्ष यात्री लुका पर्मिटानो ने सोमवार को अंतर्राष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन से धुएं की तस्वीरें ट्वीट की. परमिटानो का कहना है कि धुंध इतनी व्यापक है कि यह कुछ तस्वीरों में बादलों जैसी दिखती है.

अमेजन के जंगलो में आग कैसे लगी?
अमेजन के जंगल आम तौर पर गीला और नम रहते हैं, लेकिन जुलाई से अक्टूबर के बीच सूखे मौसम में यहां आग लगने की घटनाएं होती रहती हैं. सीएनएन ने नॉन प्रोफिट संस्था अमेजन वॉच के प्रोग्राम डायरेक्टर क्रिश्चियन पॉयरियर के हवाले से लिखा कि खेती और पशुपालन के लिए जमीन को साफ करने के लिए अक्सर आग का इस्तेमाल किया जाता है. यही कारण है कि आग की अधिकतर घटनाओं के पीछे मनुष्य जिम्मेदार है. वहीं, बीबीसी के मुताबिक ब्राजील के राष्ट्रपति जेयर बोलसोनारो ने गैर सरकारी संगठनों पर ये आरोप लगाया था कि उन्होंने उनकी सरकार को बदनाम करने के लिए खुद ही जंगलों में आग लगाई है. हालांकि बाद में उन्होंने कहा कि उन्होंने कभी उन पर आरोप नहीं लगाया.

आग से प्रभावित होने वाले क्षेत्र 
अमेजन के जंगलो में लगी आग से कई क्षेत्र प्रभावित हैं. ब्राजील के कई राज्य आग से निकले धुएं की चपेट में हैं. NASA द्वारा जारी की गईं सैटेलाइट तस्वीरों से पता चलता है कि अमेजोनाज, रॉन्डोनिया, पारा और माटो ग्रोसो राज्य इस धुएं से प्रभावित हैं. यूनाइनेट नेशन की वर्ल्ड मेट्रोलोजिकल ऑर्गनाइजेशन ने ट्वीट कर ये जानकारी दी कि ब्राजील के कई राज्यों में यह धुआं फैल गया है. ये आग वातावरण में प्रदूषक तत्वों और कार्बन मोनोऑक्साइड, नाइट्रोजन ऑक्साइड और गैर-मीथेन ऑर्गेनिक कंपाउंड को छोड़ रही है.

2,500 से अधिक जगहों पर आग सक्रिय
बीबीसी के मुताबिक अमेजन के जंगलों में 2,500 से अधिक जगहों पर आग सक्रिय है. अंतरिक्ष से आग का धुआं दिखाई दे रहा है.  यूरोपियन यूनियन अर्थ ऑब्जर्वेशन प्रोग्राम के उपग्रहों ने अमेज़ॅनस, रोंडोनिया और अन्य क्षेत्रों में धुएं की अधिक मात्रा वाली तस्वीरे खीचीं. पिछले एक हफ्ते से, यूरोपीय संघ और नासा के उपग्रह सोशल मीडिया पर धुएं की छवियों को ट्वीट कर रहे हैं.

npkdg068
अंतरिक्ष से नासा द्वारा खीचीं गई तस्वीर

आप कैसे कर सकते हैं मदद?

आप सीधे तौर अमेजन में जाकर आग बूझाने का काम तो नहीं कर सकते हैं, लेकिन अमेजन की रक्षा कर रही संस्थाओं को दान कर सकते हैं. साथ ही आप खुद से छोट-छोटे प्रयास कर अपने पर्यावरण को बचा सकते हैं.

– कागज और लकड़ी की खपत को कम करें.
– पर्यावरण को बचाने के लिए पेड़ लगाएं.
– पानी की बचत करें.
– वर्षा जल को संरक्षित करें.
– प्लास्टिक का इस्तेमाल कम से कम करें.