बाबरी मस्जिद सुनवाई के दौरान हिन्दू पक्ष वकील को मुस्लिम पक्ष ने टोका और कहा..?

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हिंदू पक्षकारों ने जो चिदंबरम या मयलापुरम के उदाहरण दिए हैं, वहां मंदिर स्थित हैं और अदृश्य देवता की उपासना होती है

सर्वोच्च न्यायालय में अयोध्या के रामजन्मभूमि-बाबरी मस्जिद विवाद पर मंगलवार को भी सुनवाई चल रही है। आज प्रतिदिन सुनवाई का 35वां दिन है।

न्यूज़ ट्रैक पर छपी खबर के अनुसार, शीर्ष अदालत में अब हिंदू पक्षकारों की ओर से रामलला के वकील के परासरण ने अपनी दलील रखनी आरंभ की। कोर्ट ने हिंदू पक्षकारों को गुरुवार तक अपनी दलीलें समाप्त करने के लिए कहा है।

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शीर्ष अदालत में हिंदू पक्षकार की तरफ से परासरण ने श्लोक पढ़ा और कहा कि पापकर्म की बदनामी मृत्यु से भी निकृष्ट है. परासरण ने कहा कि लोगों का यदि किसी भूमि स्थान पर अलौकिक शक्तिशाली और ऊर्जा होने का विश्वास और आस्था है, तो वो भी कानूनी व्यक्ति हो जाता है।

यानी उसे संकट के वक़्त अपने अस्तित्व की रक्षा के लिए कोर्ट जाने का हक है, इससे कोई अंतर नहीं पड़ता कि उन गुणों की घोषणा स्वयंभू है या किसी ने की है।

इससे पहले वकील परासरण ने कहा था कि हिन्दू सनातन दर्शन में तो पांच तत्व धरती, गगन, अग्नि, वायु और जल के साथ दसों दिशाओं को भी पूजा जाता है।

श्रीदेवी भू-देवी भी पूजित होती हैं. उन्होंने कहा कि चिदंबरम मंदिर में शिव का लिंग मौजूद नहीं है, वहां सिर्फ एक पर्दा है। पर्दा हटता है तो भगवान नटराज के दर्शन होते हैं। तमिलनाडु के समुद्रतट पर मयलापुरम में भी मंदिर है, पर प्रतिमा नहीं।

इन दलीलों पर मुस्लिम पक्ष की तरफ से पेश वकील राजीव धवन ने बीच में ही टोकते हुए कहा कि हिंदू पक्षकारों ने जो चिदंबरम या मयलापुरम के उदाहरण दिए हैं, वहां मंदिर स्थित हैं और अदृश्य देवता की उपासना होती है।