बाइडेन एडमिन ने इजरायल को $735mn हथियारों की बिक्री को मंजूरी दी!

, ,

   

इजरायल और फिलीस्तीन के बीच जारी हिंसा के बावजूद अमेरिका के बाइडेन प्रशासन ने इजराइल को 73.5 करोड़ डालर के हथियार बेचने को मंजूरी दी है।

पंजाब केसरी पर छपी खबर के अनुसार, दोनों देशों के मध्य जारी हिंसा के बावजूद सांसदों द्वारा इस समझौते पर आपत्ति जताने की संभावना नहीं है। हथियारों की बिक्री के बड़े समझौते से पहले संसद को अधिसूचित किया गया।

तीन सांसदों के सहयोगियों ने बताया कि विदेश में हथियारों की बिक्री के बड़े समझौते से पहले नियमित समीक्षा प्रक्रिया के तहत इस संभावित वाणिज्यिक बिक्री के बारे में संसद को आधिकारिक रूप से पांच मई को अधिसूचित किया गया। हालांकि बिक्री की योजना के बारे में संसद को अप्रैल में ही सूचित कर दिया गया था।

अमेरिकी कानून के मुताबिक, औपचारिक अधिसूचना के बाद संसद को बिक्री पर आपत्ति जताने के लिए 15 दिन का समय मिलता है।

दरअसल, इस बिक्री पर आपत्ति की संभावना इसलिए नहीं है क्योंकि अमेरिका में डेमोक्रेटिक और रिपब्लिकन दोनों ही पार्टियां इजराइल का जबर्दस्त समर्थन करती हैं।

बता दें कि इससे पहले अमेरिका ने एक हफ्ते में तीसरी बार संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद को इजरायल-फिलिस्तीन संघर्ष पर साझा बयान जारी करने से रोक दिया है।

इजरायली मीडिया के अनुसार संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की रविवार को हुई आपात बैठक के बाद नॉर्वे, ट्यूनीशिया और चीन ने बयान पेश किया जिसमें दोनों पक्षों से सीजफायर की मांग की गई थी लेकिन अमेरिका ने इसे जारी नहीं होने दिया।

हालांकि अमेरिकी दूतावास की तरफ से इस मामले पर कोई टिप्पणी नहीं आई है।


इजराइल और फलस्तीन के बीच युद्ध के आठवें दिन सोमवार को अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडन ने इजराइल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू से फोन पर बातचीत के दौरान ‘‘संघर्ष विराम का समर्थन” किया।

व्हाइट हाउस ने इस बारे में बताया। बाइडन का यह कदम इस बात का संकेत है कि अमेरिका चाहता है कि हमास के साथ इजराइल की शत्रुता खत्म हो।

डेमोक्रेट और अन्य सदस्यों द्वारा इजराइल और गाजा के हमास शासकों के बीच तत्काल संघर्ष विराम की बढ़ती मांग के बीच बाइडन प्रशासन ने सोमवार को इस मुद्दे से दूरी बना ली।

इजराइल और फलस्तीन के बीच लड़ाई दूसरे हफ्ते में पहुंच गयी है जिसमें 200 से अधिक लोग मारे गये हैं। इनमें से अधिकतर गाजा में फलस्तीनी नागरिक हैं।