राष्ट्रपति शी जिनपिंग ने बुधवार को प्रधानमंत्री इमरान खान को आश्वस्त किया कि अंतरराष्ट्रीय और क्षेत्रीय हालात में बदलाव आने के बावजूद चीन और पाकिस्तान की मित्रता ‘‘अटूट और चट्टान जैसी मजबूत ’’ है।
इंडिया टीवी न्यूज़ पर छपी खबर के अनुसार, शी ने यहां सरकारी अतिथिगृह में खान से मुलाकात के दौरान यह टिप्पणी की। दो दिन बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से दूसरी अनौपचारिक शिखर वार्ता के लिए शी को भारत के लिए रवाना होना है।
China assures Pakistan of ‘rock solid’ friendship, says it is observing Kashmir situationhttps://t.co/Mqws81petw
— ThePrintIndia (@ThePrintIndia) October 9, 2019
सरकारी समाचार एजेंसी शिन्हुआ ने शी के हवाले से कहा कि नए दौर में साझा भविष्य वाला चीन-पाकिस्तान समुदाय स्थापित करने की खातिर वह पाकिस्तान के साथ मिलकर काम करने को तैयार हैं।
Pak army chief hints at 'greater role' for himself, accompanies Imran Khan during China visit
The government estimates economic growth in Pakistan at the slowest pace in over a decade — at 2.4% in the year started July.
Read: https://t.co/jE7vtQfgdo pic.twitter.com/9PVFG4QaXd
— The Times Of India (@timesofindia) October 9, 2019
शी ने चीन और पाकिस्तान को सदा के लिए एक रणनीतिक सहयोग वाला साथी बताया और कहा, ‘‘इससे कोई फर्क नहीं पड़ता कि अंतरराष्ट्रीय और क्षेत्रीय हालात में क्या बदलाव आ रहे हैं, चीन और पाकिस्तान के बीच की मित्रता हमेशा अटूट और चट्टान की तरह मजबूत है। चीन और पाकिस्तान के बीच हमेशा से जीवंत सहयोग बना रहा है।’’
इमरान खान पिछले वर्ष अगस्त माह में प्रधानमंत्री बने थे, उसके बाद से उनका यह तीसरा चीन दौरा है। उनका यह दौरा इस मायने में महत्वपूर्ण है कि राष्ट्रपति शी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से अनौपचारिक शिखर वार्ता के लिए 11 -12 अक्टूबर 2019 को भारत जा रहे हैं।
शिखर वार्ता चेन्नई के समीप प्राचीन तटीय शहर मामल्लापुरम में होगी। बीजिंग इस्लामाबाद का पुराना सहयोगी है। उसने कश्मीर मुद्दे पर भी पाकिस्तान का समर्थन किया।
चीन के विदेश मंत्री वांग यी ने संयुक्त राष्ट्र महासभा में अपने संबोधन में कहा था, ‘‘ऐसा कोई एकतरफा कार्य नहीं करना चाहिए जिससे यथास्थिति में परिवर्तन आता हो। ’’
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता गेंग शुआंग ने मंगलवार को कहा कि कश्मीर के मुद्दे का समाधान भारत और पाकिस्तान को आपसी बातचीत से निकालना होगा।