जब से दिल्ली के मरकज़ निज़ामुद्दीन की पहचान एक कोरोनॉयरस हॉटस्पॉट के रूप में की गई है, तब से मुस्लिम समुदाय की छवि को खराब करने की कोशिश में पुराने और असंबद्ध वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल किए जा रहे हैं। मुस्लिम समुदाय को टारगेट करने के लिए जानबूझकर समुदाय के बहिष्कार का आह्वान करते हुए कई वीडियो साझा किए जाते हैं। एक महामारी को सांप्रदायिक रूप देने का यह कार्य परेशान करने के साथ-साथ खतरनाक भी है।
This is next level. Be safe and careful people pic.twitter.com/OJhONjvUR3
— desi mojito 🇮🇳 (@desimojito) April 3, 2020
सोशल मीडिया पर वायरल ये वीडियो 27 सेकंड का है। इस वीडियो में एक मुस्लिम शख्स फलो की रेड़ी लगा कर खड़ा है लेकिन यही शख्स फलों को ठीक करता है तो अपने उंगूठे से हर फल पर थूक भी लगा रहा है। वायरस वीडियो मध्य प्रदेश का रायसेन का बताया जा रहा है।
वीडियो में दावा किया गया कि देश में मुस्लिम जानबूझकर COVID-19 बीमारी फैला रहे हैं। जिसके चलते रायसेन एमपी मोनिका शुक्ला ने भी इस पूरे मामले पर पुलिस को जांच के आदेश दिए। उन्होंने बताया कि यह वीडियो कुछ दिन पुराना हैं लेकिन घटना गलत हैं। उन्होंने कहा कि लोगों को डरने को जरूरत नहीं है जिला प्रशासन के साथ स्वास्थ्य विभाग सजगता से काम कर रहा हैं। अफवाओं पर ध्यान ना देते हुए कोरोना को रुकने के लिए घरों में ही सुरक्षित रहें।
फल विक्रेता की पहचान की और उसकी गिरफ्तारी
खबर के मुताबिक बाद में फल विक्रेता की पहचान की गई और उसे शुक्रवार 3 अप्रैल को मध्य प्रदेश के रायसेन जिले में गिरफ्तार किया गया। उन पर भारतीय दंड संहिता की धारा 269, 270 के तहत मामला दर्ज किया गया था।
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