दिल्ली हिंसा: हिन्दू पड़ोसी ने आग में कूद कर मुस्लिम परिवार के 6 सदस्यों को बचाया!

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सोमवार से उत्तर-पूर्वी दिल्ली में नागरिकता संशोधन कानून (CAA) को लेकर हिंसा शुरू हुई और देखते ही देखते यह एक बड़े दंगे में तब्दील हो गई।

 

न्यूज़ स्टेट पर छपी खबर के अनुसार, जब दंगाई उच्चर पूर्वी दिल्ली के कई हिस्सों में अपना तांडव करते हुए लोगों के घरों में आग लगा रहे थे, लोगों को मार रहे थे तभी एक मामला ऐसा भी सामने आया जहां दंगाइयों को भी शर्मासार हो जाना पड़ा।

 

आपको बता दें कि इस घटना ने इंसानियत की एक ऐसी मिसाल पेश की जिससे दंगाइयों को भी शर्मसार होना पड़ा और वो भी उस जगह से चुपचाप पीछे हट गए।

 

दिल्ली के शिव बिहार इलाके में दंगाइयों ने एक मुस्लिम परिवार के घर में आग लगा दी। देखते ही देखते पूरा घर धू-धू कर जलने लगा और वह मुस्लिम परिवार आग की लपटों में घिर चुका था।

 

ऐसे में पड़ोस में रहने वाले हिंदू युवक ने अपने पड़ोसी को बचाने के लिए जान की बाजी लगा दी वो अपनी जान की पहवाह किए बिना ही जलते हुए घर में कूद गया और एक-एक करके उस मुस्लिम परिवार के 6 सदस्यों को आग से जिंदा निकाल लाया।

 

यह देखकर दंगाई भी वहां से खिसक लिए। आपको बता दें कि इस युवक ने मुस्लिम पड़ोसी को बचाने के लिए अपनी जान दांव पर लगा दी और इस दौरान वो बुरी तरह से झुलस गया। युवक को इलाज के लिए जी टीबी अस्पताल में भर्ती करवाया गया है।

 

बुधवार को दिल्ली के शिव बिहार इलाके में अचानक माहौल बिगड़ गया।  कुछ दंगाई अंधेरे का फायदा उठाकर मुहल्ले में घुस आए और यहां के एक मुस्लिम परिवार के घर में आग लगा दी।

 

लेकिन तभी उनके पड़ोस में रहने वाले प्रेमकांत नाम के शख्स ने यह देख लिया और उन्होंने अपने पड़ोसियों को बचाने के लिए जान की बाजी लगा दी।

 

दंगाईयों द्वारा लगाई गई इस आग में पूरा मुस्लिम परिवार फंस चुका था लेकिन प्रेमकांत की हिम्मत के आगे दंगाईयों की आग भी उनका कुछ नहीं बिगाड़ सकी प्रेमकांत ने देखते ही देखते पड़ोसी परिवार के सभी सदस्यों को आग से बाहर सुरक्षित निकाल दिया।

 

अपने पड़ोसी के घर के लगी आग देख प्रेमकांत बिना समय गंवाए तुरंत ही मुस्लिम परिवार के पास पहुंच गए। देखते ही देखते उन्होंने घर के 6 सदस्यों को आग की लपटों से सुरक्षित बाहर निकाल लििया। सबसे आखिरी में प्रेमकांत ने अपने पड़ोसी की बुजुर्ग मुस्लिम महिला को बचाने के चक्कर में काफी ज्यादा झुलस गए थे।

 

लेकिन उन्होंने उस बुजुर्ग महिला को सुरक्षित आग से बाहर निकाल लिया था। आपको बता दें कि इस दौरान प्रेमकांत लगभग 70 प्रतिशत जल चुके थे और दंगा होने की वजह से एंबुलेंस भी समय पर नहीं पहुंच पायी थी।

 

पड़ोसी परिवार को बचाने के चक्कर में प्रेमकांत बुरी तरह से झुलस गए थे जिसके बाद परिवार वालों ने एम्बुलेंस को कॉल किया, लेकिन दंगों की वजह से एंबुलेंस आने में काफी देर लग गई।

 

इस दौरान प्रमकांत लगातार तड़पते रहे उन्हें समय पर मदद नहीं मिल पा रही थी। बहरहाल अगली सुबह उन्हें किसी तरह से जीटीबी अस्पताल में भर्ती करवाया गया। बर्न विभाग में प्रेमकांत का इलाज जारी है लेकिन डॉक्टर्स ने उनकी हालत नाजुक बताई है।