भारत को 2014 में मिली ‘असली आजादी’, 1947 में मिली थी ‘भीख’: कंगना रनौत

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कंट्रोवर्सी की फेवरेट बेबी कंगना रनौत एक बार फिर चर्चा में हैं। इस बार भारत की स्वतंत्रता पर उनकी टिप्पणियों के लिए। बॉलीवुड अभिनेत्री टाइम्स नाउ समिट 2021 में एक अतिथि वक्ता थीं, जहां उन्होंने स्वतंत्रता संग्राम के बारे में बात की और कहा कि भारत को 1947 में ‘भीख’ (भिक्षा) के रूप में स्वतंत्रता मिली और 2014 में ‘वास्तविक स्वतंत्रता’ आई।

शिखर सम्मेलन से उनका वीडियो ट्विटर पर व्यापक रूप से साझा किया जा रहा है। एक वायरल क्लिप में, उसे यह कहते हुए सुना जा सकता है, “सावरकर, लक्ष्मीबाई, या नेताजी बोस के पास वापस आकर … ये लोग जानते थे कि खून बहेगा लेकिन यह हिंदुस्तानी खून नहीं होना चाहिए। वे इसे जानते थे। बेशक, उन्होंने एक पुरस्कार का भुगतान किया। वो आज़ादी नहीं थी, वो भीक थी। और जो आजादी मिली है वो 2014 माई मिली है (वह आजादी नहीं थी, वो भिक्षा थी। और हमें 2014 में असली आजादी मिली।)

कई नेटिज़न्स कंगना की टिप्पणियों के लिए उनकी आलोचना कर रहे हैं, कई ने अभिनेता को ‘भारत के स्वतंत्रता सेनानियों का अपमान’ करने के लिए नारा दिया। कई यूजर्स ने तो यहां तक ​​कह दिया कि उनका पद्मश्री लेना चाहिए। कंगना को 8 नवंबर को पद्म श्री से सम्मानित किया गया था। उन्होंने कहा था कि यह पुरस्कार उन सभी को जवाब है जो राष्ट्रीय मुद्दों पर उनके बयान पर सवाल उठाते हैं।

अभिनेत्री स्वरा भास्कर ने क्लिप पर प्रतिक्रिया व्यक्त की और लिखा, “जो बेवकूफ हैं जो ताली बजा रहे हैं, मैं जानना चाहती हूं।”