झारखंड में नयी सरकार बनने के बाद मदरसों को लेकर आई बड़ी खबर!

   

राज्य में कुल 186 गैर सरकारी मदरसा हैं। चार और पांच जनवरी को सभी मदरसों की जांच होनी है। इसके लिए गुरुवार को माध्यमिक शिक्षा निदेशालय ने दिशा-निर्देश जारी किया। इधर, शुक्रवार को ऑल झारखंड मदरसा टीचर्स एसोसिएशन की बैठक गोड्डा में हुई।

 

प्रभात खबर पर छपी के अनुसार, इसमें मदरसों की जांच कराये जाने का विरोध किया गया। एसोसिएशन ने कहा कि तीन साल में तीन अलग-अलग स्तर पर मदरसों की जांच करायी गयी हैै।

अब वे आगे जांच में कोई सहयोग नहीं करेंगे। सरकार द्वारा गत तीन वर्षों से केवल जांच करायी जा रही है। मदरसा शिक्षकों को पहले बकाया वेतन का भुगतान किया जाये, इसके बाद जांच की बात हो। वेतन नहीं मिलने से आर्थिक तंगी के कारण अब तक नौ मदरसा शिक्षकों की मौत हो चुकी है।

एसोसिएशन ने साफ कहा है कि मदरसा के अध्यक्ष/सचिव कागजात सत्यापन के लिए कमेटी के समक्ष उपस्थित नहीं होंगे। एसोसिएशन के महासचिव मो हामिदुल गाजी ने बताया कि पिछली सरकार में राज्य के मदरसों की पहले उपायुक्त के माध्यम से, फिर झारखंड एकेडमिक काउंसिल (जैक) और जिला शिक्षा पदाधिकारी स्तर से जांच करायी गयी।

तीनों जांच रिपोर्ट स्कूली शिक्षा व साक्षरता विभाग के पास है। जांच के बाद भी मदरसों की राशि का भुगतान नहीं किया गया। अब फिर से जांच कराये जाने का कोई औचित्य नहीं है।

सरकार पहले मदरसों को बकाया अनुदान दे, फिर आगे की बात करे। बैठक में सैयद फजलुल होदा, मो कासमी, मो रिजवान समेत अन्य लोग शामिल थे।

मदरसों की जांच के लिए माध्यमिक शिक्षा निदेशालय द्वारा तीन कमेटी गठित की गयी है। चार व पांच जनवरी को संबंधित मदरसा के अध्यक्ष/सचिव को आवश्यक कागजात के साथ कमेटी के समक्ष उपस्थित होने को कहा गया है।

रांची, गुमला, पलामू, गढ़वा, पूर्वी सिंहभूम, पश्चिमी सिंहभूम, हजारीबाग, रामगढ़, चतरा, कोडरमा, गिरिडीह, बोकारो, धनबाद, दुमका, देवघर एवं जामताड़ा जिला मदरसा के कागजात का सत्यापन स्कूली शिक्षा व साक्षरता विभाग के सभागार में होगा।

गोड्डा जिला के मदरसाें के कागजात का सत्यापन गोड्डा जिला शिक्षा पदाधिकारी कार्यालय और साहेबगंज व पाकुड़ जिला के मदरसों के कागजात का सत्यापन साहेबगंज जिला शिक्षा पदाधिकारी कार्यालय में होगा।