मोहम्मद शमी का सफ़र वर्ल्ड कप में अब तक बेहतरीन रहा है!

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सुनील गावस्कर का युग हो या सचिन तेंदुलकर का दौर, भारतीय क्रिकेट की पहचान हमेशा से ही उसका मजबूत बल्लेबाजी क्रम रहा है। मौजूदा समय में विराट कोहली बल्लेबाजी में नए कीर्तिमान स्थापित कर रहे हैं। बात यदि गेंदबाजी की होती भी थी तो हमारी ताकत हमेशा ही स्पिनर माने जाते थे।

आज भी हमारे पास विश्व कप टीम में कुलदीप यादव, युजवेंद्रा सिंह चहल और रवींद्र जडेजा जैसे विश्व स्तरीय स्पिनर शामिल हैं। इन सबके बावजूद मौजूदा विश्व कप में भारतीय टीम की सबसे बड़ी ताकत बन कर उभरे हैं तेज गेंदबाज।

जागरण डॉट कॉम के अनुसार, जसप्रीत बुमराह हों, भुवनेश्वर हों या फिर मुहम्मद शमी, इस विश्व कप में किसी भी टीम के बल्लेबाजों के लिए इन्हें खेलना किसी चुनौती से कम नहीं रहा।

भुवनेश्वर के चोटिल होने के बाद माना जा रहा था कि भारतीय तेज गेंदबाजी आक्रमण कमजोर पड़ जाएगा, लेकिन शमी ने उनकी जगह लेते हुए हमारे आक्रमण की धार को और ज्यादा पैनापन दे दिया।

इसमें कोई शक नहीं कि इस समय भारतीय टीम का मध्य क्रम सबसे कमजोर कड़ी बना हुआ है, लेकिन तेज गेंदबाजों ने शानदार प्रदर्शन करते हुए उसकी भरपाई करने में कोई कसर बाकी नहीं छोड़ी है।

इन तेज गेंदबाजों का प्रदर्शन ही यह विश्वास जगाने में सफल हुआ है कि हम 1983 और 2011 के बाद एक बार फिर विश्व कप अपने नाम करने में सफल हो सकते हैं।