‘जामिया में फायरिंग से साबित होता है कि विरोध प्रदर्शन में मौजूद लोग हिंसक स्वभाव के हैं’- मनोज तिवारी

   

दिल्ली में नागरिकता संशोधन कानून के विरोध में कई दिनों से प्रदर्शन हो रहे हैं। इसी बीच गुरुवार को राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की पुण्यतिथि के मौके पर जामिया मिलिया इस्लामिया विश्वविद्यालय में फायरिंग की घटना से पुरे देश में गुस्से की लहर है लेकिन अब इस मामले पर बयानबाजी शुरू हो गई है । फायरिंग की घटना पर दिल्ली के सांसद और बीजेपी चीफ मनोज तिवारी ने विवादित बयान दिया है

मनोज तिवारी ने गुरुवार को तर्क दिया कि दिल्ली के जामिया मिल्लिया इस्लामिया विश्वविद्यालय के बाहर फायरिंग की घटना साबित करती है कि प्रदर्शनकारी स्वभाव से हिंसक थे।

इंडिया टुडे के मुताबिक मनोज तिवारी ने समाचार एजेंसी एएनआई को बताया, “शूटिंग की घटना साबित करती है कि विरोध प्रदर्शन में मौजूद लोग हिंसक स्वभाव के हैं। वे गोलियों और बमों में विश्वास करते हैं।”

इससे पहले ही एक युवक ने जामिया इलाके में फायरिंग की। इस फायरिंग में जामिया का एक छात्र जख्मी हो गया, जिसे पहले होली फैमिली अस्पताल ले जाया गया बाद में उसे ट्रामा सेंटर में शिफ्ट किया गया। जामिया का छात्र फिलहाल सुरक्षित है।

बता दें की गोपाल नाम के एक लड़के ने CAA विरोधी प्रदर्शनकारियों के एक समूह पर एक पिस्तौल से गोली चलाई, जिससे जामिया मिलिया इस्लामिया का एक छात्र घायल हो गया,  बाद में पुलिस ने गोपाल को काबू में कर लिया और हिरासत में ले लिया। वहीँ इस घटना पर टिप्पणी करते हुए, भाजपा नेता मनोज तिवारी ने इसे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की हत्या की कथित योजनाओं से जोड़ा।

मनोज तिवारी ने कहा “हाल ही में पीएम को गोली मारने की बात हुई थी, अब फायरिंग हो चुकी है।  प्रदर्शनकारी हिंदू विरोधी नारे लगा रहे हैं, ‘जिन्ना-वली आज़ादी’ मांग कर रहे हैं। इस तरह के नारे लगाने के बावजूद। वहां, आम आदमी पार्टी के डिप्टी सीएम कहते हैं कि वे शाहीन बाग़  के साथ खड़े हैं, ”