सोनिया गांधी को मिली कांग्रेस की कमान, बहुत बड़ा फैसला!

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लोकसभा चुनावों में कांग्रेस पार्टी की हार की जिम्मेदारी लेते हुए कांग्रेस अध्यक्ष पद से राहुल गांधी के इस्तीफा देने के बाद नए अध्यक्ष को लेकर आज दिनभर दो दौर में चली कांग्रेस वर्किंग कमिटी की बैठक में सोनिया गांधी को पार्टी का अंतरिम अध्यक्ष बनाने का फैसला लिया गया है।

नियमित अध्यक्ष के चुनाव तक सोनिया गांधी पार्टी की बागडोर संभालेंगी। इससे पहले पार्टी की तरफ से राहुल गांधी को अध्यक्ष पद पर बने रहने के लिए मनाने की पूरी कोशिश की गई लेकिन राहुल अपनी जिद पर अड़े रहे।

अंतत: कांग्रेस वर्किंग कमिटी ने राहुल गांधी का इस्तीफा मंजूर करते हुए सोनिया गांधी को अंतरिम अध्यक्ष बनाने का फैसला लिया। देर रात एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में कांग्रेस के मीडिया प्रभारी रणदीप सुरजेवाला और महासचिव सी. वेणुगोपाल ने कांग्रेस वर्किंग कमिटी के इस फैसले की जानकारी दी।

कांग्रेस वर्किंग कमिटी की बैठक में कुल तीन प्रस्ताव पारित हुए। पहले प्रस्ताव में राहुल गांधी के नेतृत्व की तारीफ की गई। दूसरा प्रस्ताव राहुल गांधी को अध्यक्ष पद न छोड़ने की अपील के संबंध में पास किया गया। जबकि तीसरा प्रस्ताव जम्मू-कश्मीर के मौजूदा हालात को लेकर पास किया गया। इस प्रस्ताव में जम्मू-कश्मीर के मौजूदा हालात पर चिंता जताई गई।

इससे पहले नए अध्यक्ष को लेकर सुबह हुई सीडब्ल्यूसी बैठक के बाद नेताओं ने पांच अलग-अलग समूहों में मंथन किया। इन समूहों के परामर्श के आधार पर सीडब्ल्यूसी की बैठक रात आठ बजे करने का फैसला लिया गया। रात 8 बजे से शुरू हुई दूसरी बैठक में सोनिया गांधी को अंतरिम अध्यक्ष बनाने पर सहमति बनी।

इंडिया टीवी न्यूज़ डॉट कॉम के अनुसार, सीडब्ल्यूसी के नेताओं को पांच अलग अलग समूहों- पूर्वोत्तर क्षेत्र, पूर्वी क्षेत्र, उत्तर क्षेत्र, पश्चिमी क्षेत्र और दक्षिण क्षेत्र- में बांटकर परामर्श बैठकें हुईं।

पूर्वोत्तर क्षेत्र के समूह में अहमद पटेल, अंबिका सोनी, गुलाम नबी आजाद और कई अन्य वरिष्ठ नेता, पूर्वी क्षेत्र के समूह में केसी वेणुगोपाल, कुमारी शैलजा, तरुण गोगोई और कई अन्य वरिष्ठ नेता, उत्तरी क्षेत्र वाले समूह में प्रियंका गांधी, पी चिदंबरम, ज्योतिरादित्य सिंधिया और कई अन्य वरिष्ठ नेता, पश्चिमी क्षेत्र के समूह में एके एंटनी, गुलाम नबी आजाद, मल्लिकार्जुन खड़गे और कई अन्य वरिष्ठ नेता तथा दक्षिणी क्षेत्र के समूह में मनमोहन सिंह, अधीर रंजन चौधरी, आनंद शर्मा तथा कई अन्य वरिष्ठ नेता शामिल थे।