बांद्रा- अपना टाइम आएगा स्लोगन लिखी टी-शर्ट पहने दिखा विनय दुबे !

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लॉकडाउन की पाबंदियों के बीच मुंबई के बांद्रा में भारी भीड़ एकत्र करने का आरोपी भदोही का विनय दुबे निजी जिंदगी में इंजीनियर बनना चाहता था। इतना ही नहीं, उसने गरीब-मजदूरों के हक-हकूक के लिए सिस्टम से दो-दो हाथ करने की तमन्ना भी मन में पाली थी। राजनीति में भी उसकी भरपूर रुचि थी। लेकिन अब वह सोशल मीडिया पर तथाकथित पोस्ट की वजह से लोगों के निशाने पर है। हालांकि उसके घर वालों का कहना है कि विनय राजनीति का शिकार हो गया है। वहीँ विनय दुबे ने बांद्रा पुलिस से पूछताछ से पहले अपना समय आयेगा ’की टी-शर्ट पहने हुए दिखा । यह उल्लेख किया जा सकता है कि यह वह व्यक्ति है जिसने लॉकडाउन के विरोध में कथित तौर पर प्रवासी मजदूरों को उकसाया था।
पुलिस ने बुधवार को भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की धारा 117, 153 ए, 188, 269, 270 और 505 (2) और महामारी रोग अधिनियम की धारा 3 के तहत मामला दर्ज करने के बाद उसे गिरफ्तार किया है।

प्रवासियों को उकसाने का आरोप
उस पर अपने सोशल मीडिया पोस्ट के जरिए प्रवासियों को उकसाने का आरोप लगाया गया है।

मंगलवार को, पीएम मोदी ने 3 मई तक देशव्यापी तालाबंदी की घोषणा करने के कुछ घंटों बाद, बांद्रा में स्टेशन के बाहर 1,000 से अधिक प्रवासी कार्यकर्ता एकत्र हुए और अपने गृहनगर वापस जाने के लिए परिवहन व्यवस्था की मांग करने लगे।

कौन है विनय दुबे
विनय के फेसबुक अकाउंट पर दी गई जानकारी के मुताबिक वह नवी मुंबई का रहने वाला है। उसने खुद को उद्यमी और सामाजिक कार्यकर्ता बताया है। फेसबुक पर विनय ने कई पोस्ट शेयर किए हैं, इनमें से एक वीडियो में वह कहता सुनाई देता है कि उसने महाराष्ट्र में फंसे प्रवासी मजदूरों के लिए 40 बसों का इंतजाम किया है, ताकि नि:शुल्क रूप से इन मजदूरों को उनके मूल घरों तक पहुंचाया जा सके। राज्य सरकारों से इसकी अनुमति मांगी परंतु अभी तक नहीं मिली है। वीडियो पोस्ट में इसी तरह की कई बातें विनय ने साझा की हैं। विनय के इस वीडियो को 15 हजार से ज्यादा बार शेयर किया जा चुका है।